संस्कृत, संस्कृति और विज्ञान का समागम : संस्कृतायनम्
संस्कृत भाषा हर युग के विद्यार्थी, शिक्षक और समाज के हृदय की भाषा बनने की सामर्थ्य रखती है. समाज संस्कृत से जुड़ना चाहता है किन्तु सम्भवतः हम उनके हृदय तक पहुँच विकसित करने में पूरी तरह से सफल नहीं हो पाए हैं. अतः संस्कृत और समाज को जोड़ने का यह एक प्रयास है. “संस्कृतायनम्” के…